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School Principal बनने के लिए क्या करना पड़ता है? पूरी जानकारी 2024

हमारे देश में बहुत सारे स्कूल उपलब्ध है, ऐसे में कुछ लोग शिक्षक न बनकर प्रिंसिपल बनना चाहते हैं। आज हम बात कर रहे हैं कि School Principal kaise bane हम यहां पर आपको इस बारे में पूरी जानकारी दे रहे हैं कि आप किस प्रकार एक प्रिंसिपल बन सकते हैं। टीचिंग एक अच्छा प्रोफेशन माना जाता है। एक अध्यापक पूरे देश की नींव रखता है। पूरे देश का भविष्य एक अध्यापक पर आधारित होता है। ऐसे में बच्चों के व्यवहार और विकास के लिए शिक्षक एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। अगर आप भी स्कूल में प्रिंसिपल बनना चाहते हैं तो हमारा आज का यह लेख जरूर देखें। आज हम आपको इस बारे में पूरी जानकारी दे रहे हैं।

स्कूल प्रिंसिपल कैसे बने?

आपको बता दें कि स्कूल प्रिंसिपल बनने के लिए बीएड की डिग्री अनिवार्य होती है। इंटीग्रेटेड बीए करने वाले उम्मीदवार भी इसके लिए योग्य माने जाते हैं. वहीं जो उम्मीदवार d.ed करते हैं, वे प्राइमरी स्कूलों में प्रिंसिपल बनने के लिए पात्र होते हैं। इसके अलावा प्रिंसिपल की पोस्ट तक पहुंचने के लिए 5-10 साल का एक्सपीरियंस होना भी अनिवार्य होता है। साथ ही एमएड करने पर भी स्कूल प्रिंसिपल की नौकरी मिल सकती है। जों भी प्रिंसिपल बनने की इच्छा रखता है वह उम्मीदवार बीए, बीएससी, बीकॉम करने के बाद बीएड कर सकते हैं। वहीं सरकारी नौकरी पाने के लिए आपको सीटीईटी अथवा राज्य टीईटी परीक्षा पास करनी होती है। TET क्वालीफाई करने के बाद आप टीचर की नौकरी हासिल कर सकते है। इसके बाद 5-10 साल का अनुभव प्राप्त होने के बाद आप प्रिंसिपल पोस्ट के लिए आवेदन कर सकते हैं।

स्कूल में प्रिंसिपल की भूमिका

इसके लिए समय समय पर सरकार की तरफ से भर्ती निकाली जाती है। प्रिंसिपल बनने के बाद आपके कंधों पर जिम्मेदारी भी अतिरिक्त होगी। ऐसा इसलिए क्योंकि एक प्रिंसिपल के ऊपर पूरे स्कूल की जिम्मेदारी होती है। ऐसे में आपको हर दिन स्कूल आना होगा आप एक दिन भी छुट्टी नहीं ले सकते। काम को लेकर आपको ज्यादा स्ट्रेस भी हो सकता है। प्रिंसिपल पूरे स्कूल का नेतृत्व करता है और स्कूल के प्रशासन से जुड़ी सभी गतिविधियों को मैनेज करता है। किसी स्कूल में अनुशासन बनाए रखने से लेकर प्रशासनिक, वित्तीय और शैक्षणिक गतिविधियों को संभालने तक, स्कूल का प्रिंसिपल ही मुख्य भूमिका अदा करता है।

प्रिंसिपल बनने के लिए जरूरी स्किल्स

वह शिक्षकों की नियुक्ति के लिए भी जिम्मेदार है और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण रोल निभाता है। एक स्कूल प्रिंसिपल नए विचारों और गतिविधियों के साथ स्कूल को विकसित करने के लिए भी जिम्मेदार होता है। प्रिंसिपल न केवल छात्रों बल्कि अभिभावकों को भी आकर्षित करता है, कि उनके बच्चे सही स्कूल में है और वह अच्छी शिक्षा प्राप्त करेंगे। अच्छे प्रशासन के साथ एडमिशन की संख्या बढ़ाना स्कूल प्रिंसिपल पर निर्भर करता है। स्कूल प्रिंसिपल बनने के लिए प्रासंगिक डिग्री प्राप्त करना पर्याप्त नहीं होता है, और उम्मीदवारों को आवश्यक अनुभव और कौशल की जरूरत होती है। यह समाज में सबसे सम्मानजनक पद माना जाता है।

12वीं के बाद स्कूल प्रिंसिपल बनने के लिए योग्यता

यदि आपका लक्ष्य स्कूल प्रिंसिपल बनना है तो आपको 12वीं कक्षा से ही इसकी योजना तैयार कर लेनी चाहिए। प्रिंसिपल बनने के लिए B.Ed अनिवार्य डिग्री है, इसलिए सबसे पहले कोई डिग्री कोर्स यानी B.A, B.Sc या B.Com करनी होगी। डिग्री पूरी करने के बाद B.Ed करें. अगर आप शिक्षण में सरकारी नौकरी की तलाश में हैं, तो आपको सीबीएसई/राज्य सरकारों द्वारा आयोजित सीटीईटी/टीईटी परीक्षा पास करनी होगी। सिर्फ टीईटी पास अभ्यर्थी ही शिक्षण के लिए पात्र माने जायेंगे। आप टीआरटी (शिक्षक भर्ती परीक्षा) पास करके सरकारी स्कूलों में नौकरी हासिल कर सकते हैं।

इसके बाद आपको कम से कम 5-10 साल का शिक्षण अनुभव हासिल करना होगा। इस बीच आप एम.एड की डिग्री कर सकते हैं। अपने अनुभव और शैक्षिक योग्यता के आधार पर, आप सरकारी स्कूलों में स्कूल प्रिंसिपल पदों के लिए कंपटीशन में आ सकते हैं। अनुभव और शैक्षिक योग्यता के आधार पर, आप सरकारी स्कूलों में स्कूल प्रिंसिपल पदों के लिए प्रतिस्पर्धा कर सकते हैं। उसके लिए अलग से भर्ती प्रक्रिया होती है. राज्य सरकारें इसके लिए आधिकारिक अधिसूचना जारी करती है जिसमें आप हिस्सा सकते हैं।

प्रिंसिपल का कार्य क्या होता है

एक स्कूल प्रिंसिपल एक स्कूल का प्रमुख होता है जो स्कूल के पूरे कामकाज के प्रबंधन के साथ-साथ स्कूल में दिन-प्रतिदिन की गतिविधियों जैसे कि शिक्षक को नियुक्त करना, बजट का प्रबंधन करना, अनुशासनात्मक गतिविधियों का प्रबंधन करना आदि के लिए जिम्मेदार होता है। ऐसे में स्कूल प्रिंसिपल की भूमिका काफी अहम होती है। अगर आप एक प्रिंसिपल के पद पर हैं तो आपको इसका पूरा सम्मान करना होगा और पूरी निष्ठा से इसकी भूमिका को निभाना होगा। आप चाहे तो प्राइवेट स्कूल में भी प्रिंसिपल बन सकते हैं। एक प्रिंसिपल बनने के बाद आप हर दिन नई चुनौती का सामना करते हैं। हर दिन आपको कुछ नया सीखने को मिलता है। अच्छी कमाई वाली नौकरी होने के साथ-साथ यह एक चुनौती पूर्ण जॉब भी है।

प्रिंसिपल की सैलरी कितनी होती है

अब अगर स्कूल प्रिंसिपल को मिलने वाली Salary की बात करें तो स्कूल के प्रिंसिपल को 70,000 रूपए से शुरू होकर 1.50 लाख तक की सैलरी दी जाती है। वहीं बड़े-बड़े प्राइवेट स्कूलों में तो यह और भी ज्यादा होती है। जों भी टीचिंग में जाने के इच्छुक है उन उम्मीदवारों के लिए यह एक अच्छा विकल्प साबित हो सकता है।

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निष्कर्ष:-

आज के हमारे इस लेख में हमने जाना कि एक स्कूल प्रिंसिपल कैसे बने। ऐसे में अगर आप भी प्रिंसिपल बनने के इच्छुक हैं तो आशा करते हैं कि हमारा यह लेख आपके लिए लाभदायक सिद्ध होगा। हमने आपको पूरी जानकारी प्रदान करने का प्रयास किया कि किस प्रकार एक प्रिंसिपल बना जा सकता है। इसके लिए कौन सी परीक्षा देनी होती है कौन सी पढ़ाई करनी होती है इत्यादि। हमने आपको बताया कि प्रिंसिपल बनने के लिए कितने दिन का शिक्षक अनुभव होना चाहिए ताकि आप प्रिंसिपल के पद तक पहुंच सके। अगर आप भी प्रिंसिपल बनने के इच्छुक हैं तो हमारा यह लेख जरूर देखें आशा करते हैं कि यहां पर दी गई जानकारी के आपको अपने आगे की योजना तैयार करने में मददगार साबित होगी।

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